Blog Manager
Universal Article/Blog/News module
जीन्द विकास संगठन और जीन्द प्रशासन की वार्ता आज
जीन्द विकास संगठन और जीन्द प्रशासन की वार्ता आज
यदि सभी मांगो पर नहीं बनी सहमति तो दिवाली पर रेत से भरे डिब्बे अधिकारियों को बांटेगा जीन्द विकास संगठन
जीन्द, 12 Nov 2020 : विभिन्न मांगो को लेकर जीन्द विकास संगठन और प्रशासन की 13 नवम्बर को पीडब्ल्यूडी रेस्ट हाऊस में वार्ता होनी है। इस बैठक की अध्यक्षता सिटी मेजिस्ट्रेट होशियार सिंह करेंगे। बैठक में नगर परिष्द, पीडब्ल्यूडी, पब्लिक हैल्थ इत्यादि विभागो के अधिकारी भी सम्मिलित होंगे। बैठक में जीन्द विकास संगठन के अध्यक्ष राजकुमार गोयल व अन्य पदाधिकारी भी उपस्थित रहेंगे।
जीन्द विकास संगठन के अध्यक्ष राजकुमार गोयल का कहना है कि रोहतक रोड़ की बदहाल हालत को लेकर जीन्द विकास संगठन ने फर्नीचर एसोसिएशन के सहयोग से गत सप्ताह कुम्भकर्णी नींद सो रहे प्रशासन को जगाने के लिए बैण्ड बाजों के साथ एक कामयाब प्रदर्शन किया था। इसके साथ-साथ पूरा रोहतक रोड़ भी बन्द रखा गया था। रोहतक रोड़ की एक भी दुकान नहीं खुली थी। प्रशासन मौके पर पहुंचा था तब जीन्द विकास संगठन ने 5 प्रमुख मांगे प्रशासन के सामने रखी थी।
गोयल का कहना है कि दो दिन पहले इस मामले में जीन्द के डीसी से उनकी वार्ता हुई थी। जिसमें डीसी ने सभी मांगे मानने का आश्वासन दिया था। यहां तक की डीसी ने संबंधित विभागो को इन मांगो पूरा करने बारे निर्देश भी दे दिए थे। अब इस मामले में 13 नवम्बर को पीडब्ल्यूडी रेस्ट हाऊस में जीन्द विकास संगठन और जीन्द प्रशासन की वार्ता होनी है। इस वार्ता में विभिन्न विभागो के अधिकारी अपनी प्रोग्रेस रिपोर्ट रखेंगे। गोयल का कहना है कि यदि इस बैठक में सभी मांगे मान ली जाती है तो ठीक है। नहीं तो दिवाली के मौके पर अफसरों को रेत से भरे डिब्बे सौंपे जाऐंगे।
बाक्स : प्रमुख मांगे
जीन्द विकास संगठन के अध्यक्ष राजकुमार गोयल का कहना है कि उनकी प्रमुख मांगो में 1 जनवरी से पहले-पहले रोहतक रोड़ की सड़क पर निर्माण कार्य शुरू करना है इसके साथ-साथ उनकी मांगो में सड़क को वन-वे बनाने, बीच में डिवाईडर बनाने इत्यादि की मांग भी प्रमुख है। इसके साथ-साथ सड़क का जो निर्माण कार्य हो उसमें एक जांच समिति बनाई जाए जिसमें सामाजिक संस्थाओं के प्रतिनिधि शामिल हो ताकि रोड़ बनाने में किसी भी प्रकार का भ्रष्टाचार न हो। रोहतक रोड़ पर पानी छिड़कने की मांग पहले ही पूरी की जा चुकी है। जो रोड़ उबड़-खाबड़ था उसको समतल बनाने की मांग भी मानी जा चुकी है।